एक मेरे पुराने नन्हे पाठक ने कहा है कि कई दिन से मैंने बच्चों के लिए कुछ नहीं लिखा. शायद पिछले दिनों एक लम्बी कहानी लिखने के चलते ऐसा हुआ हो. बच्चों की बात मैंने कभी नहीं टाली.
"हेलो गॉड "
हेलो गॉड जी, सुनो ध्यान से, पप्पू बोल रहा हूँ मैं.
जल्दी से करदो वो पूरा, जो भी बोल रहा हूँ मैं.
फोन करो टीचर को मेरे, होमवर्क वो कभी न दें.
पापा को पाबंद करो अब, पॉकेट मनी बढ़ा कर दें.
कभी टिफिन में स्वीट- पेस्ट्री, पिज्जा-नूडल-केक धरें.
रोज़ परांठा रख देती हैं मम्मी, झेल रहा हूँ मैं.
लीडर लोगों से कहना अब, मांगें वो हमसे भी वोट.
बैठ करें चुपचाप देश की, सेवा, कभी न लूटें नोट!
"हेलो गॉड "
हेलो गॉड जी, सुनो ध्यान से, पप्पू बोल रहा हूँ मैं.
जल्दी से करदो वो पूरा, जो भी बोल रहा हूँ मैं.
फोन करो टीचर को मेरे, होमवर्क वो कभी न दें.
पापा को पाबंद करो अब, पॉकेट मनी बढ़ा कर दें.
कभी टिफिन में स्वीट- पेस्ट्री, पिज्जा-नूडल-केक धरें.
रोज़ परांठा रख देती हैं मम्मी, झेल रहा हूँ मैं.
लीडर लोगों से कहना अब, मांगें वो हमसे भी वोट.
बैठ करें चुपचाप देश की, सेवा, कभी न लूटें नोट!
काश की गोड आपकी हमारी प्रार्थनाएं सुन लें ....
ReplyDeletezaroor sunega. yadi god ne hame banaya hai to zimmedari usi ki hai. dhanywad.
ReplyDelete